यूँ ही नहीँ मिलती राही को मंज़िल,
एक जुनून सा दिल में जगाना पड़ता है,
पूछा चिड़िया से कैसे बना आशियाना तो बोली,
भरनी पडती है उड़ान बार बार तिनका तिनका उठाना पडता है ।।
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